मऊ, । एक हृदय विदारक घटना सोमवार को शादी के लिए जा रही वधू पक्ष की बारात वाली बस में झूलते हुए हाई टेंशन तार की चपेट में आने से बस में आग लग गई और पांच लोग मौके पर ही जिंदा जल गए व दर्जनों झुलस गए। घायलों का जिला प्रशासन द्वारा पूर्वांचल के विभिन्न जिलों में इलाज चल रहा है। मंगलवार को दूल्हा-दुल्हन व उनके परिजन मऊ के जिला अस्पताल पहुंचकर घायलों का हाल-चाल जाना। दुल्हन की जान बच गई, वह भी उसी बस में सवार थी।
हादसा होने के बाद आनन-फानन में निभाई गई शादी की रस्म
11 मार्च को गाजीपुर जिला के मरदह थाना क्षेत्र अंतर्गत महारे शिव मंदिर आयोजित था विवाह उत्सव। वधू पक्ष की बारात मऊ जिले के रानीपुर थाना क्षेत्र के खिरिया काझा गांव से जा रही थी, तभी मंदिर परिसर के पहले ही रास्ते में झूलते हुए हाई टेंशन तार बस की चपेट में आने से आग लग गई और बस धू—धू कर जलने लगा। उस बस में दुल्हन समेत उसके पूरे परिजन सवार थे। हादसा होने के बाद दुल्हन की मां ने उसे धक्का मार कर उसे बाहर ढकेल दिया और दुल्हन की जान बच गई। उसे बस में लगभग 40 से 50 लोग सवार थे, जिसमें पांच लोग बुरी तरीके से फंसे हुए थे और वह जिंदा जल गए तथा दर्जनों लोग झुलस गए।
दूल्हा तेज बहादुर मंगलवार को जिला अस्पताल में बताया कि बारात लेकर पहुंच गए थे, मंदिर परिसर में तभी सूचना मिली कि बधू पक्ष के बस में आग लग गई, लेकिन बधू सुरक्षित मंदिर पहुंच गई थी। हादसा के बाद परिजनों ने सिंदूरदान कर रस्म निभाई।
दुल्हन खुशबू सरोज ने बताया कि वह अपने मां के साथ व परिजनों के साथ उसी बस में सवार थी, मंदिर परिसर के पास से प्रशासन ने बस को जाने की इजाजत न दी। उसके बाद बस में कच्ची सड़क पड़कर मंदिर जा रही थी, तभी रास्ते में झूलता हुआ हाई टेंशन का तार बस के चपेट में आ गया और आग लग गई। वहां चिक पुकार की आवाज़ आने लगा और मेरी मां ने मुझे बस से धक्का मार दिया और मैं बाहर आ गई। उसके बाद मां का पैर पकड़कर मां की भी जान बचाई। घटना बेहद दर्दनाक है, अपनों को देखने व हाल-चाल लेने मऊ जिला अस्पताल पहुंची हूू। वधु के पिता ने बताया कि बस के खलासी की गलती के चलते यह हादसा हुआ। हादसे के बाद सिंदूरदान कर बिटिया की विदाई किया गया। राहत व इलाज के लिए जो जिला प्रशासन कर रहा है उसे बहुत संतुष्ट।