Category: कन्नौज

  • कन्नौज: लिखकर रख लो यूपी में इंडिया गठबंधन का तूफान आने जा रहा: राहुल गांधी

    कन्नौज: लिखकर रख लो यूपी में इंडिया गठबंधन का तूफान आने जा रहा: राहुल गांधी

    यूपी में बीजेपी की सबसे बड़ी हार होने जा रही

    कन्नौज। कांग्रेस नेता राहुल गांधी और अखिलेश यादव ने कन्नौज में संयुक्त रैली की। अखिलेश ने कहा कि भाजपा की हार में केवल चार चरण, चार कदम बाकी है। इस चुनाव में भाजपा का पूरा बैलेंस खराब कर दो। राहुल ने कहा- इंडिया गठबंधन के कार्यकर्ता शेर हैं। इंडिया गठबंधन की जीत होगी। यूपी में इंडिया गठबंधन का तूफान आ रहा है। यूपी में बीजेपी की सबसे बड़ी हार होने जा रही है।

    कन्नौज में अखिलेश यादव चुनाव लड़ रहे हैं। जबकि अखिलेश और राहुल की दूसरी रैली कानपुर में होगी। यहां से कांग्रेस प्रत्याशी रमेश अवस्थी चुनाव लड़ रहे हैं।

    राहुल ने कहा-मोदी और शाह चुनाव में ध्यान भटकाने का काम करेंगे आपको भटकना नहीं है। राहुल ने कहा-मीडिया का रिमोट पीएम मोदी के हाथों में है। लेकिन इनकी मजबूरी है। इन्हें सैलरी लेनी होती है। बावजूद इसके इंडिया गठबंधन की सरकार बनने जा रही है। प्रचंड जीत हासिल कर इंडिया गठबंधन केंद्र में अपनी सरकार बनाने जा रहा है। पीएम मोदी ने कभी अडाणी और अंबानी का नाम नहीं लिया। अब जब पीएम मोदी मुसीबत में हैं तो उनका नाम लेना शुरू कर दिया। भइया हमें बचाओ। मोदी और शाह चुनाव के वक्त आप सबका ध्यान भटकाने का काम करेंगे। लेकिन आप को संविधान बचाने के लिए भाजपा के खिलाफ वोट करना होगा।

    राहुल ने कहा-प्रशासन ने 200 गाड़ियों को रोका है। जितनी रोकनी है रोक लो। कोई फर्क नहीं पड़ेगा। यहां पर इंडिया गठबंधन की जीत होगी। यूपी में इंडिया गठबंधन का तूफान आ रहा है। यूपी में बीजेपी की सबसे बड़ी हार होने जा रही है।

    अखिलेश ने कहा कि मेरे पहले चुनाव के समय इसी मैदान में जनसभा हुई थी। उस जनसभा में मैंने जनता से कुछ नहीं मांगा था, तब जनता ने भारी वोट देकर जिता दिया था। तब नेता जी मुलायम सिंह ने कहा था कि मैं अखिलेश को लेकर आया हूं, इसे नेता बना देना। चुनाव जीतने के बाद से आज तक अपने राजनीतिक सफर में चाहें मैं चुनाव लड़ा या नही लड़ा, लेकिन मैंने कन्नौज कभी नहीं छोड़ा।

    कन्नौज में बड़े-बड़े काम जो नजर आते हैं, वो समाजवादी पार्टी की सरकार में कराए गए। जो लोग खुद को डबल इंजन की सरकार कहते थे, उनका एक इंजन गायब है। और दूसरा खटारा इंजन होर्डिंग में दिखाई नहीं दे रहा। राहुल गांधी ने न्याय यात्रा निकाली, मोहब्बत की यात्रा निकाली। आज वही राहुल गांधी हमारे लिए आप से वोटो की अपील करने कन्नौज आए हैं।

    13 मई को चौथे चरण का मतदान कन्नौज में होना है, जोकि बहुत महत्वपूर्ण है। हमारे सभी कार्यकर्ता वोटिंग के दिन एक-एक वोट डालने का काम करें।

    कन्नौज सीट सपा का गढ़ रही है। यहां 1999 में मुलायम सिंह से चुनाव लड़ा था। 2019 तक यह सीट सपा के पास ही रही। मुलायम सिंह के बाद अखिलेश ने 2000 का उपचुनाव, 2004 और 2009 लोकसभा चुनाव जीता। 2009 में हुए उपचुनाव में यहां से डिंपल यादव ने चुनाव लड़ा और संसद पहुंचीं। 2014 में भी मोदी लहर में भी डिंपल यादव ने यहां से चुनाव जीता। 2019 में भाजपा के सुब्रत पाठक से डिंपल यादव 12 हजार वोट से हार गईं।

  • कन्नौज: मुंशी के घर चला बुलडोज़र, विरोध में अधिवक्ताओं ने कामकाज ठप किया

    कन्नौज: मुंशी के घर चला बुलडोज़र, विरोध में अधिवक्ताओं ने कामकाज ठप किया

    कन्नौज। तिर्वा तहसील में सोमवार को अधिवक्ताओं ने कार्यालयों का कामकाज ठप करवा कर प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। अधिवक्ता के मुंशी के घर बुलडोजर चलवाए जाने से वकीलों में नाराजगी दिखी। गुस्साएं अधिवक्ताओं ने दो दिन बाद उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है।

    सपा नेता और अधिवक्ता दिगम्बर सिंह यादव के तिर्वा तहसील स्थित चैंबर में सुरेश कुमार मुंशी हैं। एक दिन पहले प्रशासन ने सुरेश कुमार के इंदरगढ़ थाना क्षेत्र के जगतापुर स्थित घर पर बुलडोजर चलवा दिया था। आरोप है कि सुरेश कुमार ने ग्राम समाज की सरकारी जमीन पर कब्जाकर के घेरा बनवा लिया था। जिसको बुलडोजर से ध्वस्त करवा दिया गया। इस मामले की जानकारी मिलने पर तिर्वा तहसील के वकीलों में सोमवार को उबाल दिखाई दिया। अधिवक्ताओं ने एकजुट होकर डीएम-एसडीएम के खिलाफ नारेबाजी की और तहसील के कार्यालयों का कामकाज ठप करवा दिया। यहां अधिवक्ताओं ने आरोप लगाए कि एसडीएम के मौखिक आदेश पर वकील के मुंशी के घर पर अवैध तरीके से बुलडोजर चलवा दिया गया। यदि अधिकारियों की ओर से कोई ठोस आश्वासन न दिया गया तो दो दिन बाद कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

    तिर्वा तहसील में जिला पंचायत सदस्य व अधिवक्ता दिगम्बर सिंह ने कहा कि सुरेश कुमार की पत्नी के नाम प्लाट का बैनामा है। उनकी साल्वेंसी बनी है और उनके नाम से जिला पंचायत में टेंडर डाले जाते हैं। वो जिला पंचायत में टेंडर न डाल पाएं, इसलिए उनको इस तरह से परेशान किया जा रहा है। उनकी साल्वेंसी निरस्त करने की साजिश की जा रही है जबकि ध्वस्तीकरण से पहले न कोई नोटिस दिया गया और न ही कोई सूचना दी गई। जोकि नियम विरुद्ध है, जिससे अधिवक्ताओं में नाराजगी है।