Category: उत्तर प्रदेश

  • सेक्रेटरी अनुपमा सिंह और ग्राम प्रधान धनंजय सिंह झब्बू आदि पर दर्ज मुकदमे की दुबारा होगी जाँच, अदालत ने दिया आदेश

    सेक्रेटरी अनुपमा सिंह और ग्राम प्रधान धनंजय सिंह झब्बू आदि पर दर्ज मुकदमे की दुबारा होगी जाँच, अदालत ने दिया आदेश


    मऊ। ग्राम पंचायत अहिलाद में पूर्व ग्राम प्रधान और सेक्रेटरी द्वारा बिना निर्माण सरकारी धनों की की गई बंदर बांट के मामले में दर्ज मुकदमे में विवेचक द्वारा लगाई गई आंख्या पर मुख्य दंदाधिकारी की अदालत ने सवाल खड़ा करते हुए मामले की पुनः विवेचना का आदेश दिया है।


    विभागीय सूत्रों के अनुसार विकास खंड परदहा के ग्राम पंचायत अहिलाद में वर्ष २०२० में विना निर्माण कराये ग्राम प्रधान और सेक्रेटरी ने सरकारी धनों को हड़प लिया था। मामले में “खरी दुनिया” ने पत्रकारीय आंदोलन चलाया था, मामले में जाँच हुई और जिला पंचायत राज अधिकारी घनश्याम सागर ने मामले में थाना सराय लखनसी में जलसाजी कर धोखाधडी आदि का मुकदमा क़ायम कराया था।

    मामले में विवेचक रहें पन्ना लाल की जाँच में साबित हों रहें आरोपों को दरकिनार कर विवेचक बने प्रशांत श्रीवास्तव ने मामले एफ आर लगा दी थी। एफआर लगाने के लिए विवेचक ने कई फर्जी साक्ष्य भी अदालत तक दिये है।

    बहरहाल मामले में पुनः विवेचना के आदेश के बाद ग्राम प्रधान और सेक्रेटरी के कान खड़े हों गये है। ग्राम प्रधान का नाम धनंजय सिंह झब्बू, है तो सेक्रेटरी का नाम अनुपमा सिंह है।

  • जय नारायन दुबे को उनके प्रबंधक ने किया निलंबित, जाँच

    जय नारायन दुबे को उनके प्रबंधक ने किया निलंबित, जाँच


    मऊ। जिले के बी आर के इंटर कॉलेज वालिदपुर मऊ में तथ्यों को छुपाकर बतौर कार्यवाहक प्रधानाचार्य कार्य करने वाले जय नारायन दुबे को अंततः उनके अपराधिक कृत्यो का परिणाम मिल गया। जयनारायण दुबे हाई कोर्ट के आदेश को भी छुपा कर नौकरी करते हुए सरकार से धन लेता रहा। प्रबंधक ने इस तथ्य का खुलासा करते हुए सस्पेंड कर दिया है।


    सूत्रों के अनुसार बी आर के इंटर कॉलेज वालीदपुर मऊ में विभागीय कर्मचारियों के सहयोग से नियम विरुद्ध तरीके से नियुक्ति कराकर सरकार को हर माह लाखो रुपये का चुना लगाने वाले जय नारायन दुबे को उनके प्रबंधक ने सस्पेंड कर दिया है।

    प्रबंधक ने जयनारायण दुबे के एक अपराधिक कृत्यो में उसके द्वारा माननीय उच्च न्यायालय इलाहाबाद में दाखिल याचिका ११६३/१९९३ को वर्ष २०१६ में ख़ारिज होने के आदेश को छुपाकर सरकारी धन हड़पने ला आरोप लगाया है।

    इस याचिका के ख़ारिज होने के तथ्य को न तो जय नारायन दुबे ने विभाग को देते हुए खुद को नौकरी से हटाया और न ही विभागीय अफसरों ने इस तथ्य का खुलासा किया। सब ले दे कर चलता रहा।

    बहरहाल जय नारायण दुबे के इस अपराध का खुलासा उनके बिद्यालय के प्रबंधक ने करते हुए उनके खिलाफ कार्यवाही करते हुए सस्पेंड कर दिया है। सुपेंशन दौरान जयनारायण दुबे को सस्पेंशन दौरान जीवन निर्वाह भत्ता दिया जायेगा

  • बिना लाइसेंस संचालित मेडिकल स्टोर सीज

    बिना लाइसेंस संचालित मेडिकल स्टोर सीज

    सरफराज अहमद

    जिलाधिकारी तथा सहायक आयुक्त औषधि, खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन आजमगढ़ मण्डल, आजमगढ़ के आदेश के क्रम में दिनांक 23 अगस्त 2024 को अमिला बाजार, अमिला, मऊ स्थित विना नाम के मेडिकल स्टोर पर गठित संयुक्त टीम राघवेन्द्र सिंह औषधि निरीक्षक, श्रीमती सीमा वर्मा, औषधि निरीक्षक आजमगढ़, शिद्धेश्वर शुक्ला औषधि निरीक्षक बलिया, खाद्य सुरक्षा अधिकारी अजीत कुमार त्रिपाठी, सत्यराम यादव एवं विजय प्रकाश तथा थाना कोतवाली घोसी के पुलिस बल के साथ औचक छापेमारी की गयी। निरीक्षण के दौरान उक्त प्रतिष्ठान विना लाइसेंस पाया गया। मौके पर उपस्थित विक्रेता ने अपना नाम अमरदीप गुप्ता पुत्र कन्हैया लाल गुप्ता तथा अपने को उक्त मेडिकल स्टोर का मालिक बताया। प्रतिष्ठान में भण्डारित सारी औषधियों को मौके पर ही सीज कर दिया गया, जिसकी कीमत लगभग रू0 157000 है। मेडिकल स्टोर में ज्यादा औषधि होने के कारण कार्यवाही देर रात तक चलती रही। प्रतिष्ठान में भण्डारित औषधियों में से संदिग्ध पायी गयी 02 औषधि तथा 02 खाद्य पदार्थों का नमूना नियमानुसार संग्रहित कर जांच हेतु प्रयोगशाला को प्रेषित किया गया। जांच रिपोर्ट प्रयोगशाला से प्राप्त होने के उपरान्त सम्बन्धित के विरूद्ध नियमानुसार विधिक कार्यवाही माननीय न्यायालय में किया जायेगा।

  • मऊ में इत्तेफाक से चली गोली मामले में 1 गिरफ्तार

    मऊ में इत्तेफाक से चली गोली मामले में 1 गिरफ्तार


    मऊ । बीते 23.08.2024 को थाना कोतवाली नगर पुलिस द्वारा सोनू विश्वकर्मा पुत्र कल्पनाथ विश्वकर्मा निवासी धरिया थाना मरदह जिला गाजीपुर द्वारा शारदा नारायण हास्पिटल के पास चली इत्तेफाक से चली गोली से घायल हो गया जो खतरे से बाहर है । इस संबंध में अभियुक्त के कब्जे से एक अदद
    डीबीबीएल गन व एक अदद खोखा बरामद कर गिरफ्तार किया गया । इस संबंध में उक्त अभियुक्त के विरुद्ध थाना स्थानीय पर मु0अ0सं0 266/24 धारा 109 बीएनएस व धारा 29 आयुद्ध अधिनियम का अभियोग पंजीकृत कर चालान न्यायालय किया गया ।

  • कलयुगी पत्नी ने अपने पति को ठेकेदार सहित कई लोगो से पिटवाया, सीसीटीवी कैमरे में कैद हुआ वीडियो

    कलयुगी पत्नी ने अपने पति को ठेकेदार सहित कई लोगो से पिटवाया, सीसीटीवी कैमरे में कैद हुआ वीडियो

    सरफराज अहमद

    मऊ शहर के कोतवाली थाना क्षेत्र के मुंशीपुरा इलाके में स्थित मशहूर मिठाई की दुकान छप्पन भोग के सफाई कर्मी को दबंगों ने दुकान से बाहर निकलकर जमकर पीटा है। जिसका सीसीटीवी कैमरे में वीडियो कैद हो गया है। बताया जा रहा है कि रामविलास यादव गाजीपुर जनपद के रहने वाले हैं और छप्पन भोग मिठाई की दुकान में सफाई कर्मी का काम करते हैं।

    सफाई कर्मी रामविलास यादव का उनकी पत्नी से आपसी विवाद चलता है जिसको लेकर 22 अगस्त की दोपहर 1:00 बजे छप्पन भोग मिठाई की दुकान पर पत्नी चिन्तु देवू, बिजली विभाग के ठेकेदार पप्पू यादव और उनके साथी वासुदेव चौहान,जुगेश यादव आ गए । और पीड़ित व्यक्ति को दुकान से बाहर निकालकर जमकर पीटना शुरू कर दिया ।

    जिसमें पूरी घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई है। साथ ही चार पहिया वाहन गाड़ी में डालकर ओवरब्रिज से नीचे फेकने की कोशिश की गई।जिसमें पीड़ित के शोर मचाने पर रेलवे ट्रेक के पास फेंककर भाग गए।फिलहाल पीड़ित व्यक्ति ने थाने में तहरीर देकर न्याय की गुहार लगाई है।

  • शारदा नारायण हॉस्पिटल में चली गोली, १ घायल, २ की हिरासत, जाँच में जुटी पुलिस

    शारदा नारायण हॉस्पिटल में चली गोली, १ घायल, २ की हिरासत, जाँच में जुटी पुलिस

    (ब्रह्मा नन्द पाण्डेय / सरफराज अहमद )

    मऊ। शारदा नारायण हॉस्पिटल में संदिग्ध परिस्थितियों एक ब्यक्ति को गोली से घायल होने की खबर है। पुलिस मामले में दो ब्यक्तियों को हिरासत में लेते हुए चली गोली के कारणों को खंगलने में जुटी हुई है।


    पुलिस सूत्रों को अनुसार कोतवाली इलाके में मौजूद शारदा नारायण हॉस्पिटल में संदिग्ध परिस्थितियो में एक ब्यक्ति गोली से घायल हों गया है। सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस ने इस मामले में दो ब्यक्तियों को हिरासत में लेते हुए चली गोली के कारणों को खंगालने का काम में जुट गई है।

    सीओ सिटी अंजनी कुमार पाण्डेय ने पत्रकारों से चातचीत में बताया कि उनके द्वारा इस मामले में सर्वर रूम के टेक्निशियन और एक सुरक्षा गार्ड समेत कुल दो लोगो को पुलिस में हिरासत में लिया गया है।

    पुलिस ने सर्वर रूम को सील कर दिया है। गोली से घायल ब्यक्ति को हॉस्पिटल प्रबंधन खतरे से बाहर बता रहा है। खबर दिये जाने तक मौके पर पुलिस के लोग मौके पर है। गोली कैसे क्यू कहा चली को लेकर अभी कोई स्पस्ट रूप से बोलने को तैयार नहीं है।

    हॉस्पिटल प्रबंधन तुरंत घायल का इलाज कर, जान बचाने में जुटा

    शारदा नारायण हॉस्पिटल में चली गोली से घायल की जान बचाने में शारदा नारायण हॉस्पिटल तुरंत एक्शन में आ गया। बिना देर हॉस्पिटल प्रबंधन का घायल की जान बचाने में खुद मैदान में उतर गया। हॉस्पिटल प्रबंधन के इस इंसानियत की मौके पर प्रसंशा सुनी गई।

    घायल को हॉस्पिटल प्रबंधन खतरे से बाहर बता रहा है। गोली कैसे चली और क्यू चली ? को लेकर् हॉस्पिटल प्रबंधन खुद सामने आ कर पत्रकारों के सवाल का जबाव दिया गया। खुद हॉस्पिटल के निदेशक दा संजय सिंह ने पत्रकारों के सवाल का जवाब दिया और किसी भी डिबिआर को मौके से हटाने का खंडन किया।

  • लेटरल एंट्री से पिछड़ों और दलितों का प्रीतिनिधित्व खत्म होगा–अरशद जमाल

    लेटरल एंट्री से पिछड़ों और दलितों का प्रीतिनिधित्व खत्म होगा–अरशद जमाल

    मऊ। लेटरल एंट्री का मतलब निजी क्षेत्र के विशेषज्ञों की सीधी भर्ती से है। इसके माध्यम से केंद्र सरकार के मंत्रालयों में संयुक्त सचिवों, निदेशकों और उप सचिवों के पदों की भर्ती की जाती है। यह अवधारणा सबसे पहले कांग्रेस के नेतृत्व वाली संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार के दौरान पेश की गई थी। 2005 में वीरप्पा मोइली की अध्यक्षता में बने दूसरे प्रशासनिक सुधार आयोग (एआरसी) ने इसका समर्थन किया था।

    1966 में मोरारजी देसाई की अध्यक्षता वाले पहले प्रशासनिक सुधार आयोग ने इसका आधार तैयार किया था। हालांकि आयोग ने लेटरल एंट्री की कोई वकालत नहीं की थी। बाद में मुख्य आर्थिक सलाहकार का पद लेटरल एंट्री के जरिये भरा जाने लगा। नियमों के अनुसार, इसके लिए 45 वर्ष से कम आयु की सीमा निर्धारित की गई थी, दूसरी शर्त प्रतिष्ठित अर्थशास्त्री का होना था। इसी तर्ज पर कई अन्य विशेषज्ञों को सरकार के सचिवों के रूप में नियुक्त किया जाता है। मगर नई व्यवस्था में दोनो शर्तों को नकारा जा रहा है।

    लेटरल एंट्री योजना औपचारिक रूप से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कार्यकाल में शुरू हुई। 2018 में सरकार ने संयुक्त सचिवों और निदेशकों जैसे वरिष्ठ पदों के लिए विशेषज्ञों के आवेदन मांगे थे। यह पहली बार था कि निजी और सार्वजनिक दोनों क्षेत्रों के पेशेवरों को इसमें मौका दिया गया।

    सवाल ये है के इस नियुक्ति में क्या आरक्षण प्रणाली का अनुपालन किया जाता है, तो जवाब सीधा सा है के नहीं। अगर यही 45 निउक्तियां यूपीएससी के माध्यम की जाती तो इसमें से 23 अधिकारी पिछड़े और दलित वर्ग से आते।

    जिस प्रकार से एक महिला को निजी कॉरपोरेट कंपनी से लाकर सेबी जैसी महत्त्वपूर्ण संस्था की मुखिया बनाया गया है, उससे सवाल खड़ा हो रहा है के क्या उसकी वफादारी संबंधित घराने को लाभ पहुंचाने के लिए काम नहीं आएगी? इतना ही नहीं इस योजना से ये बात साबित होती है के यूपीएससी द्वारा चयनित वरिष्ट अधिकारियों में योग्यता की कमी है, जो उक्त अधिकारियों के मानसिक तनाव को बढ़ाने के साथ उनमे कटुता का भाव पैदा करेगी। अगर उच्च पदों पर सरकार ने नियुक्ति का ये तरीका बढ़ाया तो आने वाले समय में उच्च पदों तक पहुंचने के लिए पिछड़े और दलित वर्गो की भागीदारी ही खत्म हो जाएगी। जो भी सरकार सत्ता में आएगी अपने चहेतों की नियुक्ति मनमाने तरीके से करके उनको अपने इशारे पर चलाएगी।

    सरकार को ये योजना वापस लेनी चाहिए और मौजूदा अधिकारियों में बिना भेद भाव के काबिल अधिकारियों की नियुक्ति इस प्रकार से करनी चाहिए के आरक्षण का पैमाना सुरक्षित भी रहे, और हर मंत्रालय में सभी वर्गों की भागीदारी भी बनी रहे।

  • मऊ में २ करोड़ के घोटाले की जाँच के शासन के आदेश को दबाये बैठा है “डीपीआरओ” दफ्तर

    मऊ में २ करोड़ के घोटाले की जाँच के शासन के आदेश को दबाये बैठा है “डीपीआरओ” दफ्तर

    मऊ। जिले में वर्ष २०२० के सामान्य निर्वाचन दौरान ग्राम पंचायतो में नियुक्त प्रसाशकों के द्वारा पदीय अधिकारों का दुरूपयोग करते हुए २ करोड़ १० लाख २८ हजार से अधिक की धनराशि निकालने के मामले में शासन से १८ अप्रैल २०२४ में जाँच कर कार्यवाही को आदेश को विभाग द्वारा दबा दिये जाने की खबर है।


    विभागीय सूत्रों के अनुसार साशन में जनपद गोरखपुर के ग्राम पंचायतो में वर्ष २०२० के सामान्य निर्वाचन दौरान नियुक्त प्रसाशकों के द्वारा पदीय अधिकारों का दुरूपयोग करते हुए ग्राम पंचायतो के खातो से लाखो लाख डकार लिया गया। इस अनियमितता को लेकर शासन तक पहुंची शिकायत को विभागीय अफसरों ने जाँच में सही पाया।

    शिकायत को जाँच में सही पाए जाने के बाद अटल कुमार राय, निदेशक पंचायतीराज उत्तर प्रदेश सरकार कि ओर से जिले के सभी जिलाधिकारियो के नाम दिनांक १८ अप्रैल २०२४ को पत्र संख्या ६/६७४/२०२४-६/३५४/२०२३ के माध्यम से मामले में जाँच कर कार्यवाही का आदेश दिया गया था।

    मगर मजे कि बात यह रही कि आज तक विभागीय अफसरों ने इस जाँच अपने जिले में खिला ही नहीं। जबकि रानीपुर समेत केवल दो ब्लोको के प्रसाशकों के द्वारा इस दौरान धनराशि नहीं निकाली गई है। ७ बिकास खंडो के ग्राम पंचायतो में उस समय तैनात प्रसाशकों के द्वारा कुल २ करोड़ १० लाख २८ हजार ७४३ रुपये की धनराशि निकाल ली गई। सूत्रों पर यकीन करे तो इस धन से कोई कार्य तक नहीं कराया गया है। सूबे के 74 जिलों के ग्राम पंचायतो में तैनात प्रसाशकों ने बिना काम कराये उतार लिया है लाखो लाख रुपये ।

    खरी दुनिया इस मामले को लेकर जनहित याचिका दाखिल करने की तैयारी में है।

  • कोपागंज बीडीओ नहीं दे रहें रिपोर्ट, कार्यवाही हों रही बाधित

    — एक ही ब्यक्ति पर नाम बदल कर दो दो सरकारी लाभ लेने का है आरोप, बीडीओ रोक रहें जाँच आंख्या

    — सरकारी लाभ के लिए कही नन्हकी पत्नी दयाशंकर बनी तो कही बन गई तारा पत्नी दयाशंकर


    मऊ। दो नामो से सरकारी लाभ ले रही महिला को चिन्हित करने में बेसिक शिक्षा अधिकारी मऊ की बीते २८ जुलाई से चल रही जाँच अब तक फेल साबित हों रही है। कोपागंज की मीरपुर रहीमाबाद की नन्हकी पत्नी दयाशंकर ने जहा इस नाम से वर्ष २००८ में इंदिरा आवास लिया है तो वही पर अब नन्हकी द्वारा तारा पत्नी दयाशंकर बनकर रसोइया की नौकरी की जा रही है।

    मामले में जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी के यहा पड़ी शिकायत की जाँच के लिए बी एस ए द्वारा खंड शिक्षा अधिकारी कोपेगंज को पत्र लिखा गया है, जिन्होने खंड विकास अधिकारी कोपागंज को पत्र लिख कर नन्हकी द्वारा सरकार के भजाये गये चेक की असलियत रिपोर्ट मांगी है।

    आज तक बीडीओ की आख्या नहीं मिलने के कारण शिक्षा विभाग कार्यवाही को धरातल पर नहीं उतार पा रहा है।

  • सभासद ने मार कर किया घायल, इलाकाई लोगो ने इलाज को कराया भर्ती, घटना से पुलिस बनी अंजन

    सरफराज अहमद

    मऊ। नगर के वार्ड नंबर २१ के सभासद अशोक राजभर ने अपने कई साथियो संग नन्द लाल राजभर को मारपीट कर घायल किये जाने की खबर है, इलाकाई लोगो ने घायल को इलाज के लिए भर्ती कराया है।
    सोशल मीडिया पर वायरल फुटेज का खरी दुनिया पुष्टि नहीं करती है लेकिन चहु ओर नगर के वर्ड नंबर २१ के सभासद अशोक राजभर द्वारा अपने साथियो के साथ लाठी डंडे और लात घुसो से मारने का वायरल फुटेज चर्चा का विषय बना हुआ है। समाचार लिखे जाने तक पुलिस इस वायरल फुटेज को लेकर अंजान बनी हुई है।