मऊ। नगर मजिस्ट्रेट मऊ की जाँच में स्वास्थ्य और खाद्य विभाग के अफसरों की कलई खुलने लगी है। निजी अस्पतालो तथा खाद्य पदार्थो के कारखानो के अबैध संचालन में इन विभागों के अफसरों की मिली भगत उजागर हुई है।
बतौर नगर मजिस्ट्रेट बृजेन्द्र कुमार द्वारा बीते दिनों नगर के तमसा किनारे अबैध तरीके से बिना रजिस्ट्रेशन संचालित पंकज पेठा के अबैध संचालन की जानकारी मिलने पर जाँच की गई । इस दौरान नगर मजिस्ट्रेट ने खाद्य विभाग के अफसरों को जब इस मामले की जानकारी दी तो विभाग के अफसरों के द्वारा बिना मौके पर आये नियमों की जानकारी दी जाने लगी। नगर मजिस्ट्रेट ने पंकज पेठा का संचालन अबैध पाया था।
खाद्य विभाग के अफसर न मौके पर तत्काल नही आये। इसी बींच नगर मजिस्ट्रेट ने मीडिया से बातचीत में इस बात का खुलासा किया कि जिले में जितने अबैध अस्पताल और खाद्य विभाग के कारखाने चल रहे है उनसे स्वास्थ्य और खाद्य विभाग के अफसरों की मिली भगत होने का खुलासा किया।
नगर मजिस्ट्रेट के इस खुलासे के बाद जिले में अबैध रूप से संचालित हॉस्पिटलो के अबैध संचालन के कारणों से तो पर्दा उठ गया लेकिन इस पर्दे को उठने के बाद उन कारणों का सफाया कब तक होगा ? इस पर अभी संसय बना हुआ है। हलाकि नगर मजिस्ट्रेट के इस खुलासे के बाद जिले में नर्सिंग होम्स की जाँच के हुए ऑर्डर को प्रतिफल स्वरूप देखा जा रहा है।